परमेश्वर के आत्मा का वचन "केवल पूर्ण बनाया गया ही एक सार्थक जीवन जी सकता है"
सर्वशक्तिमान परमेश्वर कहते हैं: "जो पूर्ण बनाए जा चुके हैं वे विजय प्राप्त किए जाने के बाद सिर्फ़ आज्ञाकारिता प्राप्त करने में समर्थ नहीं होते हैं, बल्कि वे ज्ञान प्राप्त करने और अपने स्वभाव को बदलने में भी समर्थ होते हैं। वे परमेश्वर को जानते हैं, परमेश्वर को प्रेम करने के मार्ग का अनुभव करते हैं, और सत्य से भरे हुए हैं। वे जानते हैं कि परमेश्वर के कार्य का कैसे अनुभव किया जाए, परमेश्वर के लिए दुःख उठाने में समर्थ हैं, और उनकी स्वयं की इच्छाएँ हैं।......पूर्ण उन लोगों को संदर्भित करता है, जो जीते जाने का कार्य समाप्त होने के बाद, सत्य का अनुसरण करने और परमेश्वर द्वारा प्राप्त किये जाने में सक्षम होते हैं। उन लोगों को संदर्भित करता है, जो जीते जाने का कार्य समाप्त होने के बाद, आपत्ति में अडिग रहते हैं और सत्य को जीते हैं।"
सम्पर्क करें:सर्वशक्तिमान परमेश्वर की कलीसिया